खत्म हुआ 10 महीने का इंतजार : कैबिनेट ने 8वें वेतन आयोग के गठन पर लगाई मुहर

नई दिल्ली। केंद्र सरकार ने मंगलवार को आठवें वेतन आयोग (8th Pay Commission) के गठन को औपचारिक मंजूरी दे दी है। इससे करीब एक करोड़ से अधिक केंद्रीय कर्मचारियों और पेंशनधारकों को राहत मिलने की उम्मीद है।

सरकार ने बताया कि जस्टिस रंजन को आयोग का चेयरमैन नियुक्त किया गया है, जबकि आईआईएम बेंगलुरू के प्रोफेसर पुलक घोष और पेट्रोलियम एवं प्राकृतिक गैस मंत्रालय (MoPNG) के सचिव पंकज जैन आयोग के सदस्य होंगे।

18 महीनों में सरकार को सौंपी जाएंगी सिफारिशें

कैबिनेट की बैठक के बाद जारी आधिकारिक प्रेस विज्ञप्ति में कहा गया कि आयोग को अपनी सिफारिशें सरकार को 18 महीनों के भीतर सौंपनी होंगी। इस दौरान वेतन और पेंशन में संभावित संशोधन की रूपरेखा तैयार की जाएगी। उम्मीद है कि आयोग की सिफारिशों के आधार पर वेतन वृद्धि वर्ष 2027 से लागू हो सकती है।

1 जनवरी 2026 से प्रभावी माने जाएंगे बदलाव

NC-JCM (स्टाफ साइड) के सचिव शिव गोपाल मिश्रा ने कहा कि यदि वेतन आयोग की सिफारिशों के लागू होने में देरी होती है, तो भी इसे 1 जनवरी 2026 से प्रभावी माना जाएगा। ऐसे में कर्मचारियों को 2027 में एरियर सहित वेतन वृद्धि का लाभ मिल सकता है।

पहले भी हुआ था ऐसा सातवें वेतन आयोग में

सातवें वेतन आयोग को लागू करते समय भी इसी तरह की देरी हुई थी, लेकिन बाद में सभी केंद्रीय कर्मचारियों और पेंशनभोगियों को एरियर का भुगतान किया गया था। इस बार भी वही प्रक्रिया अपनाई जा सकती है।

हर 10 साल पर बनता है नया वेतन आयोग

गौरतलब है कि बढ़ती महंगाई और खर्चों को देखते हुए केंद्र सरकार हर 10 वर्ष में नया वेतन आयोग गठित करती है, ताकि कर्मचारियों के वेतन, भत्ते और सुविधाओं की समीक्षा की जा सके। इस क्रम में आठवें वेतन आयोग के 1 जनवरी 2026 से प्रभावी होने की संभावना जताई जा रही है। 

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