यूपी में शराब बनी आफत : नशे में धुत युवक ने किसान को उतारा मौत के घाट…

  • लॉकडाउन में शराब बिक्री के शासन के आदेश का होने लगा विरोध

कानपुर, 05 मई (हि.स.)। लॉकडाउन में जहां प्रशासन की कोशिश है कि कोरोना के संक्रमण की चेन तोड़ी जा सके तो वहीं लॉकडाउन में शासन के आदेश से सोमवार से जनपद में शराब की दुकानें खुल गयी। शराब की दुकानें खुलने से नशेबाज अपना असर दिखाना शुरु कर दिये। इसी के चलते बिल्हौर में एक किसान की हत्या हो गयी। किसान का कसूर सिर्फ यह था कि उसने नशेबाज युवक को रास्ते से हटने को कह दिया। इस पर नशेबाज युवक ने विकलांग किसान जो तरबूज बेचने मंडी जा रहा था उसकी गोली मारकर हत्या कर दी। मंगलवार को पोस्टमार्टम पहुंचे परिजनों का कहना था कि अगर शराब की बिक्री नहीं होती तो सुशील की जान बच जाती।

बिल्हौर कोतवाली क्षेत्र के निबौरी खंड शिवरा दाराशिकोह गांव में रहने वाले शंभूदयाल वर्मा किसान हैं। उनके पांच बेटे हैं और दूसरे नंबर का बेटा सुशील कुमार वर्मा दिव्यांग है। दिव्यांग होने के कारण वह घर पर ही रहकर पिता के कामकाज में हांथ बटाता था। सोमवार शाम को 32 वर्षीय किसान सुशील खेत गया था और ट्रैक्टर पर तरबूज लादकर वापस घर आ रहा था। किसान को थोड़ी देर बाद मंडी भी निकलना था जिससे मंगलवार को वह तरबूज की बिक्री कर सकता। लेकिन घर आने से पहले ही रास्ते में उसकी हत्या हो गयी। गांव का रहने वाला ट्रैक्टर चालक प्राशू ने बताया कि तरबूज लादकर लौटते समय गांव के किनारे ही किसान राधेलाल का बेटा किशनपाल उर्फ श्याम सिंह नशे में धुत मिला। सुशील ने उसे रास्ते से हटने के लिए कहा तो वह गालीगलौज करने लगा। विरोध पर उसने सड़क पर पड़ी ईट उठाकर मारी, लेकिन गनीमत रही कि ईट किसी को लगी नहीं। इसके बाद सुशील व प्राशू ट्रैक्टर से उतरे और धक्का देकर उसे किनारे कर दिया।

दोबारा फिर आया और तमंचे से मार दी गोली

प्राशू के मुताबिक आरोपित जान से मारने की धमकी देते हुए लड़खड़ाते कदमों से अपने घर चला गया। लेकिन यह अहसास नहीं हुआ कि वह दोबारा आकर घटना कर देगा। बताया कि जब हम लोग घर से मंडी के लिए निकले तो घर से कुछ दूर डेयरी के पास किशनपाल दोबारा आ गया और गालीगलौज करने लगा। सुशील ने विरोध किया तो उसने 315 बोर का तमंचा निकालकर सुशील के सीने में गोली मार दी। गोली चलते ही सुशील लहूलुहान होकर गिर पड़े। प्राशू ने शोर मचाकर लोगों को बुलाया। इसके बाद तुरंत सुशील को एलएलआर अस्पताल लाए, जहां उनकी मौत हो गई।

मौके पर पकड़ गया आरोपित नशेबाज

वारदात के बाद ग्रामीणों की भीड़ एकत्र हो गई और गांववालों ने आरोपित को मौके पर ही पकड़ लिया। गुस्साई भीड़ लाठी डंडे, बांस, चप्पल, जूते, ईट, जिसे जो मिला, उसी से आरोपित को पीटने लगा। पुलिस अगर मौके पर न पहुंचती तो आरोपित की भी जान चली जाती। पुलिस ने आकर भीड़ को शांत कराया और आरोपित को अपनी हिरासत में सीएचसी में भर्ती कराया। थाना प्रभारी संतोष अवस्थी ने बताया कि आरोपित पुलिस की हिरासत में है। वारदात में प्रयुक्त तमंचा मौके पर ही बरामद हो गया है। मुकदमा दर्ज कर कार्रवाई की जा रही है।
वहीं ग्रामीणों का गुस्सा देखकर आरोपित के स्वजन भी फरार हो गए।

लोगों की मदद में आगे रहता था दिव्यांग

मृतक किसान सुशील दिव्यांग जरुर था पर उसका जज्बा देखकर परिवार ही नहीं गांव वाले भी प्रशंसा करते थे। हर मौके पर लोगों के काम आते और घर परिवार की पूरी देखभाल करते थे। सोमवार शाम वारदात की सूचना घर पहुंची तो कोहराम मच गया। पिता शंभू दयाल, चारों भाई दिनेश, विजय, नीरज व अखिलेश बेहाल हो गए।

सुबह से पी रहा था दारू

ग्रामीणों ने बताया कि लॉकडाउन की वजह से कई दिन बाद ठेका खुला तो आरोपित किशनपाल सुबह ही अपने एक साथी के साथ गांव के बाहर स्थित ठेके पर चला गया था। वहां छह पौव्वे खरीदकर जेब में रखे और पुलिस को देखकर गांव लौट आया। इसके बाद गांव मे ही वह पूरे दिन शराब पीता रहा। पुलिस के मुताबिक आरोपित भी अपने पिता के साथ खेतीबाड़ी के काम में हाथ बंटाता था।

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