दैनिक भास्कर ब्यूरो
बरेली। जेल में बंद अतीक के भाई अशरफ के 2 गुर्गों को शुक्रवार को एसओजी और बिथरी चैनपुर पुलिस ने संयुक्त कार्यवाही में गिरफ़्तार कर लिया। जानकारी के मुताबिक गिरफ़्तार दोनों आरोपी बिना पर्ची और आईडी के जेल में अतीक अहमद के पूर्व विधायक भाई अशरफ से मिलते थे। पूछताछ में पता चला है कि जेल के गेट से लेकर अंदर तक कोई भी उन्हें नहीं रोकता था। वीवीआईपी की तरह जेल में दो-दो घंटे तक अशरफ से बिना आईडी के मुलाकात हुआ करती थी। पुलिस अधीक्षक नगर राहुल भाटी के मुताबिक पकड़े गए आरोपियों के नाम राशिद और फुरकान हैं। अन्य दो लोग फरार हैं, उनकी तलाश में पुलिस की अलग-अलग टीमें लगातार दबिश दे रही है।
सीसीटीवी से खुल गया राज।
बरेली के बिथरी चैनपुर थाने में जेल चौकी इंचार्ज ने मामले में एफआईआर दर्ज कराई है। सूत्रों के हवाले से लंबे समय से अशरफ का साला सद्दाम बरेली के बारदारी थाना क्षेत्र के फाइक एनक्लेव में मुस्ताक के नाम पर किराए का मकान लेकर रह रहा था। एक हफ्ते में एक ही आईडी पर 6 से 7 व्यक्तियों को अशरफ से मिलवाया जाता था। अशराफ का साला सद्दाम और लल्लागद्दी की मदद से जेल के अधिकारी और कर्मचारी अवैध तरह से मिलाई कराते थे।
गुजरात जेल में बंद अतीक के भाई अशरफ से मुलाकात भी दूसरे स्थान पर होती थी। उमेश पाल हत्याकांड में अशरफ भी नामजद आरोपी है। मामले में 3 दिन पहले बरेली जेल के सिपाही शिवहरि अवस्थी और कैंटीन में सामान पहुंचाने वाले दयाराम उर्फ नन्हे को गिरफ़्तार किया गया था। शुक्रवार को राशिद और फुरकान भी अरेस्ट किए गए हैं। अभी तक इस मामले में चार लोगों की गिरफ्तारी हो चुकी हैं।
डीएम और डीआईजी ने की थी छापेमारी।
प्रगागराज में 24 फरवरी को उमेशपाल की गोली और बम बरसाकर हत्या की गई। जिसकी लाइव वीडियो भी सामने आई। हत्याकांड में दो बदमाश ढेर कर दिए गए। उमेश पाल हत्याकांड के बाद 27 फरवरी को डीएम और डीआईजी ने छापा मारा था। जिलाधिकारी शिवाकांत द्विवेदी और डीआईजी अखिलेश चौरसिया ने जेल में बैरक की चेकिंग कराई। अशरफ से पिछले दिनों जो लोग मिलने आए थे। उनकी जांच कराई गई। जांच में यह चौंकाने वाले खुलासे हुए। जांच में पता चला कि अशरफ से उसके सगे संबंधियों को बिना पर्ची के बरेली जेल का सिपाही शिवहरि अवस्थी तय जगह के अलावा अन्य स्थान पर मिलवाता था।
जेल में बंद अशरफ का करीबी नन्हे उर्फ दयाराम जेल में सब्जियां आदि लेकर जाता था। जेल में खाने-पीने का अन्य सामान भी अशरफ तक पहुंचाया था। दोनों के मोबाइल और 3920 रुपए बरामद किए गए हैं। इससे पहले बरेली जेल से अशरफ ने वॉट्सऐप कॉल की थी, जिसका खुलासा प्रयागराज में पकड़े गए आरोपी से हुआ था। ये सामने आया कि ऐसे फोन कॉल के बाद मोबाइल से डिटेल को डिलीट कर दिया जाता था। मामले में पुलिस अधीक्षक नगर ने जानकारी देते हुए बताया कि अन्य आरोपियों की गिरफ़्तारी के लिए टीमें लगातार प्रयास कर रही हैं।