गंभीर बीमारियों के लिए रामबाण है तेज पत्ते का काढ़ा, जानिये इसके और भी कई फायदे 

तेज पत्‍ता एक आयुर्वेदिक जड़ी बूटी है। तेजपत्ते का इस्तेमाल ज्यादातर भारतीय पकवानों में किया जाता है। मसाले के तौर पर इस्तेामल होने वाली इन पत्त‍ियों में कई औषधीय गुण पाए जाते हैं। तेज पत्ते को सेहत के लिए भी गुणकारी माना जाता है और इसे खाने से कई प्रकार के रोग सही हो जाते हैं। आपने अक्सर देखा होगा कई लोग तेज पत्ते की चाय पीना भी पसंद करते है। गुणों के आधार पर इसकी चाय सेहत के लिए उत्तम मानी जाती है। इसकी चाय या काढ़ा पीने से शरीर में मौजूद कई रोग दूर हो जाते है।

भारतीय रसोई घर (में उपयोग किए जाने वाले मसाले बहुत सारी बीमारियों में रामबाण इलाज का काम भी करते है। रसोई में रखे खाने के मसाले के रूप में प्रयोग होने वाला तेजपत्ता साधारण जुकाम से लेकर खतरनाक किडनी और दिल तक की बीमारी में फायदेमंद है। दादी-नानी द्वारा बताए नुस्खों को यदि याद करें तो पाएंगे कि रसोई दवाओं का भंडार है। तेजपत्ता की बात करें तो यह त्वचा को निखार कर अपने नाम के ही अनुरूप तेज भी लाता है। जाहिर सी बात है, जब चेहरे पर तेज होगा तो आप सुंदर भी लगेंगे या लगेंगी।

तेजपत्ते के तेल में कई प्रकार के औषधीय गुण होते हैं जो कि स्वास्थ्य के लिए काफी लाभप्रद होते हैं। इस तेल से कई प्रकार के ऑयनमेंट बनते हैं और इसमें एंटी-बैक्टीरियल और एंटी-फंगस गुण होते हैं। तेजपत्ता कॉपर, पोटेशियम, कैल्शियम, मैग्नीशियम, सेलेनियम और आयरन से भरा होता है। इतना ही नहीं ये एंटीऑक्सीडेंट्स भी होता है जो कई रोगो में लाभ पहुँचता है। तो आइये जानते है, तेज पत्ते के प्रयोग से क्या लाभ होता है।

तेजपत्ते का काढ़ा बनाने की विधि और प्रयोग

सिर दर्द से मिले आराम

अधिक तनाव लेने से कई बार सिर में दर्द होने लग जाता है। सिर में दर्द होने पर आप तेज पत्ते का काढ़ा बनाकर पी लें। ये काढ़ा पीने से सिर का दर्द फौरान सही हो जाएगा। सिर दर्द के अलावा पेट में दर्द होने पर भी अगर तेज पत्ते का काढ़ा पीया जाए तो पेट दर्द से तुरंत आराम मिल जाता है।

उल्टी में लाभदायक

मन खराब होना, जी मचलाना या फिर उल्टी का लगातार आना, इस सबमे तेज पत्ते का काढ़ा अत्यंत लाभ पहुंचाता है। काढ़ा पीने से आपका मन सही हो जाएगा। ध्यान दे, गर्भबती महिलाये इसका प्रयोग डॉक्टर की देखरेख में ही करे। डॉक्टर की सलाह के बिना गर्भबती महिलाओ को इसका प्रयोग नहीं करना चाहिए। अगर किसी ब्यक्ति को पेट दर्द की शिकायत है, तो बह इसका प्रयोग कर लाभ ले सकता है।

जुकाम में राहत

शर्दी जुकाम ये सब एक वायरल इंफेक्शन के लक्षण होते है। मौषम का बदलना व धूल भरी जगह पर ज्यादा समय तक बने रहने से ये दिक्कत सुरु हो जाती है। ऐसे में आप तेज पत्ते का काढ़ा प्रयोग कर लाभ ले सकते है। जुकाम के साथ साथ हलके बुखार में भी काढ़ा राहत पहुंचाने का कार्य करता है।

नसों की सूजन में लाभ

उम्र के चरण अनुसार, अक्सर शरीर में कमजोरी के साथ साथ नसों में खिचाव की दिक्कत सुरु हो जाती है। समय के साथ साथ कई लोगो की नसों में दर्द भी सुरु। ऐसे में किसी तेज पत्तो का काढ़ा आपको राहत दे सकता है। तेज पत्ते का काढ़ा पीने से और इसका तेल लगाने से नसों की सूजन एकदम सही हो सकती है, साथ ही इस वीमारी से लाभ भी मिल सकता है।

पथरी के लिए है फायदेमंद

अनियमित और दूषित खानपान के चलते आजकल पेट में पथरी होना एक आम समस्या हो गई है। इस रोग में पेट में बहुत दर्द होता है। पथरी से परेशान लोगों के लिए तेजपत्ता बहुत काम की चीज है। इसके सेवन से पथरी का काफी हद तक कटाव होता है। तेजपत्ते को उबाल कर या खाने में सेवन किया जा सकता है।

नींद की कमी होती है दूर

अत्यधिक तनाव और चिंता के चलते नींद की कमी होना लाजमी है। एक सर्वे के अनुसार जो महिलाएं घर में रहती हैं उन्हें अधिक तनाव की समस्या रहती है। क्योंकि वह अपनी इच्छाओं और बातों को ज्यादा शेयर नहीं कर पाती है। तेजपत्ते के सेवन से नींद की कमी दूर होती है। रात को सोने से पहले तेजपत्ते के तेल की कुछ बूंदों को पानी में मिलाकर पीने से अच्छी नींद आती है।

इस तरह बनाये तेज पत्ते का काढ़ा

काढ़ा बनाने के लिए आपको अपनी रसोई के कुछ सामान की आवश्य्कता पढ़ सकती है। तेज पत्ते का काढ़ा बनाने के लिए आपको 10 ग्राम तेज पत्ता, थोड़ी सी अजवायन और 5 ग्राम सौंफ और चीनी की जरूरत पड़ेगी। इसी के साथ आप गैस पर दो कप पानी उबलने के लिए रख दे, बिलकुल चाय की तरह। फिर इस पानी के अंदर आप तेज पत्ता, अजवायन और सौंफ को डाल दें। इसके बाद इस पानी को कुछ देर अच्छी तरह से उबाले, जब तक तेज पत्ता अपना रंग पूरी तरह ना छोड़ दे।

पानी उबलने के बाद इसमें स्वादानुसार चीनी मिला सकते है। यंहा ध्यान देने योग्य बात ये है, कि मधुमेह के रोगी चीनी का प्रयोग ना करे। अगर हो सके तो सामान्य इंसान भी कम ही प्रयोग करे। पानी जब अच्छी तरह उबल कर आधा रह जाए, यानी एक कप तब इस काढ़े के वर्तन को गैस बंद कर नीचे उतार ले। इसके बाद किसी साफ़ छलनी या फिर साफ़ कपडे की सहायता से इसको छान कर कप में कर ले। अब आपका काढ़ा पूरी तरह प्रयोग के लिए तैयार है। इस काढ़े का प्रयोग आप दिन में दो बार कर सकते है, इससे आपको निश्चित रूप से आराम मिलेगा।

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