पाकिस्तान के पेशावर में स्थित एक मदरसे में मंगलवार (अक्टूबर 27, 2020) को हुए बम विस्फोट में 7 की मौत हो गई और 72 के घायल होने की सूचना है। पेशावर के दीर कॉलोनी में हुए इस बम विस्फोट में मृतकों व घायलों में अधिकतर बच्चे हैं। इस बम विस्फोट के लिए 5 किलो IED का प्रयोग किया गया था। पूरे क्षेत्र को घेर लिया गया है कि पुलिस तलाशी अभियान चला रही है। घायलों को अस्पताल में भर्ती कराया गया है।
जब ये धमाका हुआ, तब मदरसे में कुरान की कक्षा चल रही थी। किसी ने विस्फोटक को ले जाकर मदरसे के भीतर रख दिया था। घायलों में शिक्षक भी हैं। लेडी रीडिंग हॉस्पिटल में सभी मृतकों और घायलों को लाया गया है। वहाँ इमरजेंसी बेसिस पर घायलों का इलाज चल रहा है। पिछले ही सप्ताह बलूचिस्तान की सरकार ने क्वेटा में विपक्षी पार्टियों की शक्ति प्रदर्शन रैली के बीच बम विस्फोट की साजिश की सूचना के कारण अलर्ट जारी किया था।
#Peshawar Explosion: First visuals indicate blast took place inside the Madrassa. 19 children injured. 15 taken to Lady Reading Hospital. pic.twitter.com/hFwqbLfQe2
— Mansoor Ali Khan (@_Mansoor_Ali) October 27, 2020
पिछले ही महीने खैबर पख्तूनख्वा नौशेरा स्थित अकबरपुरा में भी बम धमाका हुआ था, जहाँ 5 लोगों की मौत हुई थी और 2 घायल हुए थे। वहीं पेशावर में जब बम धमाका हुआ, तब वहाँ 40-50 बच्चे मौजूद थे। सुबह के 8 बजे ही एक अज्ञात ने मदरसे में जाकर विस्फोटक रख दिया था। पेशावर के मदरसे में हुए बम विस्फोट के घायलों में अधिकतर के शरीर के कई हिस्से जल चुके हैं। 72 घायलों में से 50 बच्चे ही हैं। खैबर पख्तूनख्वा के मुख्यमंत्री महमूद खान ने इस घटना की निंदा की है।
उन्होंने पुलिस को इस घटना की त्वरित जाँच का आदेश देते हुए कहा कि दोषी कानून की पहुँच से निकल कर भाग नहीं पाएँगे। जहाँ बम धमाका हुआ, स्पीन जमात मस्जिद है, जो मदरसे के रूप में भी काम करता है। मस्जिद में जहाँ नमाज पढ़ी जाती थी, उस जगह को खासा नुकसान पहुँचा है। प्रांतीय सरकार के स्वास्थ्य मंत्री ने कहा कि अभी उनका सारा फोकस घायलों को उचित इलाज दिलाने की ओर है।
इधर पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान ने फ्रांस के राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रों को कट्टर बताते हुए उन पर इस्लाम पर हमला करने का आरोप लगाया है। उन्होंने पैंगबर के चित्र पर जारी विवाद के मद्देनजर कहा कि मैक्रों ने इस्लाम की जानकारी न होने के बावजूद मुस्लिमों पर हमला किया व इस्लामोफोबिया को बढ़ावा दिया। पाक पीएम ने अपने ट्वीट में यह भी कहा कि यह समय संयम से काम लेने का था।